निदान – 45
धर्म और मजहब
”सॉंप को दूध पिलाइए तो वह भी जहर हो जाता है। इतने दिनों का, इतने लोगों का अनुभव है, और आप हमारे सेक्युलरिस्ट भाइयों की तरह प्रेम राग गाने का सुझाव रखते है, यह आपको अच्छा व्यक्ति तो सिद्ध कर सकता है उनको अच्छा नहीं बना सकता। गांधी जी की भी यही सीमा थी और आपकी भी। गांधी के प्रति आपके अनुराग का भी यही कारण लगता है।”
”गांधी जी को छोडि़ए वह आप लोगों जितने बड़े नहीं थे, जो जिनसे न बने उन्हें सांप समझ लें और यह तक न जानते हों कि यह वह देश है जिसमें सांप को भी पालतू बना लिया जाता है। आज से चार दिन पहले किसी चैनल